थोड़ी सी अक़्ल लाए थे हम भी मगर 'सोमैयाजी'View attachment 218104
लिखी है मैंने ये गजल सिर्फ तेरे लिए...
दीवाने बने भी तो सिर्फ तेरे लिए...
किसी को भी नहीं दिखेगी अब ये आंखें...
नजरे तरसेगी भी तो सिर्फ तेरे लिए...
हर सांस में याद करेंगे तुझे ये सांस निकलेगी भी तो सिर्फ तेरे लिए...
हर प्यार से प्यारे लगते हो तुम मुझे मैंने प्यार सिखा भी तो सिर्फ तेरे लिए...
दुनिया के हादसात ने दीवाना कर दिया