कुछ और वजहें सोची हैं
दुनिया से नफरत करने की,
कुछ सिगरेटें उधार ली हैं
आज की रात गुज़ारने के लिए,
इसलिए कि
अब लड़ते-लड़ते मैं हार जाता हूँ
अपने ही अन्दर के शैतान से,
कुछ सिगरेटें उधार ली हैं
हरे घावों पे मरहम लगाने के लिए,
सही और गलत का भेद बताने के लिए,
अंधेरों से निकाल रौशनी तक
ले जाने के लिए,
मैंने कुछ सिगरेटें उधार ली हैं
और एक रात जिंदा गुज़ारने के लिए,
मेरी दुनिया में धुंधलका बहुत है
सब देखना भी तो ज़रूरी नहीं है फिर,
जलती सिगरेट तो मेरी रौशनी का जरिया है
कुछ सिगरेटें उधार ली हैं
गिरते गिरते फिर संभल जाने के लिए,
रात लम्बी है, अंधियारी, सुनसान बहुत है,
फूंकती है बुझती ज़िन्दगी, अनजान बहुत है,
सोख लेती है मुझसे मेरी ज़िन्दगी बची खुची,
बनाती है बेगाना मुझे, नादान बहुत है,
मेरे आगे है जलती आग
उसके पीछे मैं बाग़ी हूँ
आज की रात तो न हारूँगा मैं,
कुछ सिगरेटें उधार ली हैं
गर हारूं तो मुझे हार से बचाने के लिए........!!!!
दुनिया से नफरत करने की,
कुछ सिगरेटें उधार ली हैं
आज की रात गुज़ारने के लिए,
इसलिए कि
अब लड़ते-लड़ते मैं हार जाता हूँ
अपने ही अन्दर के शैतान से,
कुछ सिगरेटें उधार ली हैं
हरे घावों पे मरहम लगाने के लिए,
सही और गलत का भेद बताने के लिए,
अंधेरों से निकाल रौशनी तक
ले जाने के लिए,
मैंने कुछ सिगरेटें उधार ली हैं
और एक रात जिंदा गुज़ारने के लिए,
मेरी दुनिया में धुंधलका बहुत है
सब देखना भी तो ज़रूरी नहीं है फिर,
जलती सिगरेट तो मेरी रौशनी का जरिया है
कुछ सिगरेटें उधार ली हैं
गिरते गिरते फिर संभल जाने के लिए,
रात लम्बी है, अंधियारी, सुनसान बहुत है,
फूंकती है बुझती ज़िन्दगी, अनजान बहुत है,
सोख लेती है मुझसे मेरी ज़िन्दगी बची खुची,
बनाती है बेगाना मुझे, नादान बहुत है,
मेरे आगे है जलती आग
उसके पीछे मैं बाग़ी हूँ
आज की रात तो न हारूँगा मैं,
कुछ सिगरेटें उधार ली हैं
गर हारूं तो मुझे हार से बचाने के लिए........!!!!